Hindi Porn Stories हाय रे ज़ालिम - Page 18 - SexBaba
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Hindi Porn Stories हाय रे ज़ालिम

देवकी; बेटा चूत तो मेरी भी यही चाह रही है पर अभी बहु घर में है ना आहह आह्ह्ह्ह।

देवा;तो क्या हुआ वो तो रामु के साथ आपको देख चुकी है न।

देवकी;हाँ इसी बात से तो मै परेशान हूँ बेटा कैसे नज़रें मिलाऊँ उससे समझ नहीं आता।

देवा;अगर मै ऐसा कुछ कर दूँ की तुम्हें अपनी बहु के सामने से शर्म महसूस न हो तो.....

देवकी;अपनी छाती से देवा के मुंह को चिपका देती है। फिर तो तेरी ये मामी तेरे गुलाम बन जाएगी। तू जो कहेंगा जहाँ कहेंगा वो मै करुँगी।देवा अपनी मामी को कुछ समझा देता है फिर.....

देवा; अपने मामी के होंठ को चुमने लगता है और उसी समय कौशल्या चाय का कप ले के देवकी के रूम में आती है।

देवा;अपने होंठ देवकी के होठो से निकाल लेता है और देवकी चाय पीने लगते है।
और चाय पीके कौशल्या से बोलके खेत में चली जाती है।

कौशल्या; ये सब क्या हो रहा था देवा।
देवा;कुछ नहीं मै तो बस मामी के गले मिल रहा था ।

कौशल्या अच्छा सब देखा मैंने बड़े आये गले मिलने वाले। हूं......
वो देवा को घुरने लगती है और उसी मदमस्त निगाहो से वो देवा के सामने रखा चाय का कप उठाते हुए वापस किचन में चली जाती है।


देवा; उठके कौशल्या के पीछे पीछे चला जाता है ।
भाभी भाभी क्या हुआ ।

कौशल्या ;कुछ नहीं मुझे काम करने दो।

देवा;मेरे अच्छी भाभी मेरी भोली भाभी मेरी सुन्दर भाभी इतना गुस्सा ठीक नहीं है चलो अब हँस भी दो।

कौशल्या;हंस पडती है अच्छा बाबा अब मुझे नहाने भी दोंगे या नहीं चलो हाथो मुझे नहाने जाना है। उसके बाद बहुत से काम है ।

देवा;आप नहाने जा रही हो ।

कौशल्या ; हाँ क्यूं।

देवा;मुझे भी नहाना है मै भी साथ चलता हूँ।

कौशल्या : नहीं पागल तो नहीं हो गये न तुम।

देवा; भूल गई जो मै कहुंगा वो तुम्हें मानना होगा। वादा किया है तुमने।
 
कौशल्या ;अपने सर पे हाथ मारके रह जाती है।
देखो देवा तुम नहाते वक़्त कोई शरारत तो नही करोगे ना।

देवा;करूँगा हाहा।हाहा।
मेरी मर्ज़ी चलो जल्दी चलो।

चूत तो कौशल्या की भी फड़फड़ा रही थी देवा के साथ नहाने के लिए ।

दोनो बाथरूम में घुस जाते है। कौशल्या ने अपने जिस्म पे एक पतली सी साडी बांध रखी थी जिसके निचे कुछ भी नहीं था और देवा सिर्फ पेंट में।

कौशल्या बाथरूम में एक कोने में बैठके नहाने लगती है और देवा उसे देखने लगता है।

कौशल्या;अब खड़े खड़े मेरा मुंह क्या देख रहे हो नहाना नहीं है क्या।

देवा;हाँ हाँ नहाना है।

कौशल्या अपने ऊपर के जिस्म पे साबुन लगाने लगती है और साथ ही अपने चेहरे पर भी साबुन लगाके मलने लगती है।

इधर देवा अपने पेंट में से अपना लंड निकाल के सिर्फ उसपे पानी डालके उसे साबुन लगा के धोने लगता है जैसे कोई मैदान ए जंग का सिपाही जंग पे जाने से पहले अपने तलवार साफ़ करता है।

कौशल्या जैसे ही चेहरे पे लगे साबुन को पानी से धोके देवा की तरफ देखती है उसकी साँस चलना बंद हो जाती है।
काला लम्बा मोटा वो ज़हरीले साँप की तरह दिखने वाला देवा का वो लंड जिसे वो हाथ में लेके बैठा था कौशल्या देखते ही रह जाती है।
अपनी ज़िन्दगी में उसने छोटे मोटे लंड तो देखे थी पर असली लंड उसे आज देखने को मिला था। वो कभी देवा को देखती फिर उसके लंड को देखती और अपने जिस्म पे पानी डालती जाती।

देवा;क्या हुआ भाभी।

कौशल्या;कुछ नहीं वो अपने पीठ देवा की तरफ करके अपने धड़कते दिल को सँभालने ही लगती है की देवा उसे पीछे से पकड़ लेता है।


देवा;कुछ चाहिए भाभी।

कौशल्या; हाँ ..नहीं छोड़ो न तुमने वादा किया था की.....
देवा का लंड कौशल्या की पतली सी साडी के ऊपर से ठीक उसके गाण्ड के सुराख़ के पास चुभने लगता है। जिससे कौशल्या के शरीर में अकडन होना शुरू हो जाती है।
 
देवा; कौशल्या को अपने जिस्म से कस के चिपका लेता है।
भाभी मुझे आपको करना है।

कौशल्या; ओह्ह्ह्ह करो न भैया रोका किसने है।

देवा;को यही सुनना था । वो अपने पेंट वही उतार के कौशल्या के जिस्म से साडी निकाल के उसे अपनी गोद में उठा लेता है और उसके होठो को चुमते हुए उसे उसके कमरे में ले आता है।

कौशल्या;कल रात रामु के साथ इस कमरे में चूदी थी वो चूदाई तो रामु से थी । पर हर धक्का उसे देवा की याद दिला देता था ।

देवा कौशल्या को लिटा के उसके मिठे मीठे नरम मखमली ब्रैस्ट को मुंह में लेके चुसने लगता है गलप्प भाभी। आपकी चूचियां कितनी नरम है गलप्प गलप्प्प।

कौशल्या; आहह तुम्हारे है भैया आहह पी लो सारा दूध अपनी बहन का आह्ह्ह्ह्ह।



देवा के हाथ नीचे कौशल्या की चूत पे रेंग रहे थे और मुंह उसके ब्रैस्ट को छोड़ने को तैयार नहीं था । जिसके वजह से कौशल्या की बुरी हालत थी। वो तो बस अपनी चूत में देवा का लंड लेना चाहती थी । पर देवा आज कौशल्या को पहले जी भर के पीना चाहता था उसके बाद उसे अपने लंड का पानी पीलाना चाहता था।

कौशल्या;भैया मुझे भी चाहिए।

देवा;क्या भाभी।

कौशल्या; ये।
उसका इशारा देवा के लंड की तरफ था। देवा बिना कुछ कहे कौशल्या को अपने लंड की तरफ खीच लेता है और कौशल्या देवा के खूबसूरत लंड को पहले कितनी ही देर देखती है और फिर उसे चुमते हुए अपने मुंह के अंदर ले लेती है गलप्प गलप्प।


कितनी ही देर वो देवा के लंड को नहीं छोड़ती और जब छोड़ती है तो देवा के लंड की नसे फूल के एकदम मोटी हो गई थी। खून से भरे हुए लंड की नसे देख कौशल्या की चूत डरने भी लगती है और चुदने के लिए चीखने भी लगती है।

देवा;कौशल्या को सीधा लिटा के उसके पैर खोल देता है और धीरे धीरे अपने लंड को कौशल्या की चूत में घुसाते जाता है।
 
कौशल्या; उईई माँ क्या है ये लंड है या कोई बांस है आह्ह्ह।

देवा;कम चिललाओगी धीरे से करुँगा ज़ोर से चिल्लाओगी उतने ज़ोर से चोदुँगा आह्ह्ह।

कौशल्या;अपने मुंह पे दोनों हाथ रख देती है जिससे उसकी आवाज़ न निकल सके पर देवा ने तो उससे मज़ाक़ किया था वो ऐसा खुंखार शिकारी था जो अपने शिकार को कभी अधूरा नहीं छोडता था । वो अपने लंड से कौशल्या की चूत को खोलता चला जाता है और कौशल्या कुछ देर बाद कुँवारी लड़की की तरह चीखने लगती है।

आह निकाल ले बाहर मर जाऊँगी मै आअह्हह्हह्हह।

देवा;बस थोडी देर भाभी आहह बस हो गया न आह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह।

कौशल्या रोने लगती है उसकी चूत से पानी की धार बहने लगती है कभी कभार चुदने वाली कौशल्या आज अपने ज़िन्दगी के सबसे सुखद और दर्दनाक दौर से गुज़र रही थी । एक तरफ चूत की आग उसे और और चुदने के लिए कह रही थी और एक तरफ लंड की मार उसे चुदने से रोक रही थी

देवा;अपने मज़बूत हाथों से कौशल्या के दोनों ब्रैस्ट को पकड़ के सटा सट अपना लंड उसकी चूत में घुसाए जा रहा था।



रोते रोते कौशल्या की आवाज़ अब सिसकारियों में बदल चुकी थी उसकी चूत ने देवा के लंड को अच्छी तरह अपना ली थी वो दोनों टांगों को और खोल देती है। जिससे देवा के लंड को अंदर जाने में आसानी हो।

देवा;आहह क्या बात है भाभी अब तो चिल्ला भी नहीं रही हो।

कौशल्या;प्यार करती हूँ तुमसे और प्यार करने वाले की हर चीज़ अच्छी लगती है दर्द भी आह्ह्ह्ह्ह।

देवा;अपनी भाभी के होठो को चुमता हुआ अपने लंड को चूत की गहराइयों में उतारता चला जाता है इस बात से अन्जान की देवकी दरवाज़े के पास खड़ी सब देख रही है।
 
अपडेट 27



देवा के झटकों से जहाँ कौशल्या थरथरा रही थी वही दरवाज़े पे खडी देवकी की चूत भी गीली हो चुकी थी।

कौशल्या ; आहह मर गई मै तो आज देवा.....

देवा;भाभी अभी तो आपका आखरी सुराख़ बाकी है।

कौशल्या ;नहीं कभी नहीं मर जाऊँगी मै । बस बस आहह देवा आह्ह्ह्ह्ह।

कुछ देर बाद देवा अपने अखिरी झटके कौशल्या की चूत में मारने लगता है और अचानक कौशल्या की चूत से ढेर सारा पानी बाहर बहने लगता है ये दोनों के पहले मिलाप का पहला पानी था।।

कौशल्या ;देवा के पेट सहलाते हुए अपने साँसें धीमे करने लगती है की उसे आभास होता है के कोई उन्हें देख रहा है जैसे ही वो दरवाज़े की तरफ देखती है उसके मुंह से एक चीख़ निकलती है माँ जी।

देवा;देवकी को देख कौशल्या के ऊपर से हट जाता है और दोनों जल्दी जल्दी अपने अपने कपडे तलाश करने लगते है।

कौशल्या के हाथ पैर थर थर काँप रहे थे। वो जानती थी अब उसकी सास पूरा घर सर पे उठा लेंगी ।

देवकी आगे बढ़ती है और धीरे धीरे कौशल्या के क़रीब पहुँच जाती है।

कौशल्या ;अभी भी नंगी ही खड़ी थी। माँ जी ये सब पता नहीं कैसे हो गया मुझे माफ़ कर दिजिये।
देवकी के कुछ कहने से पहले ही कौशल्या खुद बा खुद अपनी सफाई देने लगती है।वो देवकी से ऑखें भी नहीं मिला रही थी। देवा पास में खड़ा अपने कपडे पहन रहा था उसे तो पता था की देवकी क्या करेंगी पर एक बात से वो निश्चिंत था की अगर देवकी ने ज़्यादा हल्ला गुल्ला की तो वो उसके मुंह में अपना लंड डालके उसे चुप ज़रूर करवा देगा।

देवकी;मैंने तुमसे सफाई नहीं मांगी। कौशल्या इधर देखो मेरी तरफ।

कौशल्या डरते ड़रते देवकी की तरफ देखती है और उसी पल अचानक देवकी अपने होंठ कौशल्या के होठो पे रख के लगभग अपने मुंह को उसके मुंह में डाल देती है।
 
देवकी के इस तरह व्यवहार से जहाँ कौशल्या की ऑंखें फटी की फटी रह जाती है वही देवा भी हक्का बक्का सा उन दोनों को देखता रह जाता है।

जब देवकी कौशल्या के मुंह से रस पान करके अपने होंठ हटाती है तो कौशल्या के चेहरे पे जादू और चिंता के मिले जुले भाव नज़र आते है।

देवकी;अरे घबराते क्यों है कुछ नहीं कहूँगी तुझे मैं।
तेरे मुंह से अब भी इसके लंड के महक आ रही है
तेरी सास अब बदल गई है । कौशल्या तू किसी से भी मत डर जो दिल में आये खुले आम कर कोई तुझे कुछ नहीं कहने वाला।

देवा;देवकी को पीछे से पकड़ लेता है अरे वाह मामी एक ही रात में तुम इतनी बदल गई।

देवकी;सब तेरे और तेरे पानी के करिश्मा है बेटा।
सच कहूं तो जब मै रामु के साथ ये सब कर सकती हूँ तो अपनी बहु को तेरे साथ करने से क्यों रोकूं।

देवा; मामी मै कल जाने वाला हूँ मेरी एक इच्छा पूरी करोगी।।

देवकी;हाँ बोल न।

देवा; मैं तुम दोनों को एक साथ रामु के सामने चोदना चाहता हूँ।

कौशल्या ;हाय दैया ये क्या कह रहे हो देवा । दिमाग तो जगह पर है तुम्हारा।

देवकी;इस में गलत क्या है।तुने तो मेरी मन की बात के कह दिया देवा ।
मै तो हमेशा से अपने आगे और पीछे से लेना चाहती थी।

देवकी के मुंह से ऐसे बाते सुनके कौशल्या को शर्म भी आ रही थी और मजा भी ।
देवकी; मैं रामु को मना लुंगी तुम बस रात में उसे थोडी सी शराब पीला देना ।
नशे में वो कुछ भी कर सकता है और थकता भी नही।

देवा;दोनों औरतों को अपने से चिपका लेता है देवा ने बहुत कम वक़्त में इस घर का नक्शा ही बदल दिया था। एक दूसरे को गालियों के सिवा बात न करने वाले इस घर के सदस्य अब खुले आम चुदाई की बातें करने लगे थे।

देवा को बस इंतज़ार था रात का और रामु के मान जाने का।
 
आज दोनों सास बहु पहली बार एक साथ बाथरूम में नहाने चली जाती है दोनों की चूत की एक जैसी दशा बनी हुई थी पर उनकी चूत से रात के बारे में सोच सोच के रह रह के पानी रिस रहा था। वो दोनों नहा कम रही थी और एक दूसरे की चूत को ज़्यादा सहला रही थी।

देवकी;देख न बेटी क्या हाल किया है देवा ने इसका ।

कौशल्या ;अपनी सास की चुत को अपने उँगलियों से मलती हुई- माँ जी मेरा भी तो यही हाल है जब वो अंदर होता है तो दिल करता है बाहर निकाल दूँ और जब देवा पास नहीं होता तो मन करता है उसे चुदती रहूँ। कल वो चल जायेंगा तो कैसे रह पाएंगे हम माँ जी।

देवकी;अपनी बहु के मोटे मोटे निप्पल्स को अपने मुंह में भर के चुसने लगती है। आहह तू चिंता मत कर बहु मै कुछ दिन बाद तुझे वहां भेज दूंगी फिर तू अच्छे से चुदवा लेना देवा से और मै उसे बोल दूंगी की दो तीन हफ्ते में वो यहाँ आके हमारी प्यास बुझा दिया करे। आअह्हह्हह्हह।

कौशल्या ;अपनी दोनों उँगलियाँ अपने सास की चूत के अंदर तक डाल देती है और दोनों एक दूसरे को चुमते हुए झडने लगते है।एक दूसरे की चूत से बाल साफ़ करके जब वो दोनों नहा के बाहर निकलते है तो रामु को घर के अंदर अपने कमरे में बिस्तर पे लेटा हुआ पाते है।

देवकी जल्दी से उसके पास चले जाती है और कौशल्या देवा को बताने चली जाती है की रामु घर आ चुका है।

देवकी;पता नहीं रामु को कैसे मना लेती है पर कुछ देर बाद जब वो अपने कमरे के बाहर निकलता है तो उसका चेहरा चौदहवी के चाँद के तरह दमक रहा था वो हँस हँस के देवकी से बातें करने लगता है और कुछ देर बाद वहां देवा भी आ जाता है।

दोनो भाई एक दूसरे को देख पहले मुस्कुराते है उसके बाद गले मिलके बाहर चले जाते है।

कौशल्या ;उनके जाने के बाद देवकी से पूछ लेती है
माँ जी वो मान गये।

देवकी;अरे मानता कैसे नहीं ।

कौशल्या ;आपने उनसे क्या कहा।

देवकी;यही की अगर तुम चाहते हो की देवा अपनी माँ और तुम्हारे बापु से कुछ न कहे तो हमे उसे आज रात खुश करना होंगा वो समझदार है मेरी बात समझ गया।

कौशल्या ; ख़ुशी के मारे अपनी सास के गले लग जाती है।
 
उधर बाहर देवा और रामु गांव की गलियों में घुम रहे थे।

देवा;क्यूँ भाई आज पीने का मन नहीं है क्या।

रामु;नहीं देवा ।

असल में मुझे तुमसे बात करनी थी। मन बहुत भारी भारी हो रहा था। तुमसे बात करुँगा तो शायद कुछ सुकून मिले।

देवा;आओ यहाँ बैठ के बात करते है अब बोलो क्या बात है।

रामु;देवा तुम मेरे छोटे भाई जैसे हो।
तुमसे कुछ छुपा नहीं है तुम हमारे बारे में सब कुछ जान गए हो पर यार तुझसे नज़र मिलाने की मुझे हिम्मत नहीं हो रही है।

देवा;अरे भाई मेरे जो हुआ उसे भूल जा।
तूने मामी के साथ जो किया उस में तुम दोनों की ख़ुशी थी मैंने तुम्हें उस दिन इसलिए बुरा भला नहीं कहा की तुम अपने माँ के साथ ये सब कर रहे थे। बल्कि इसलिए तुम्हे चाँटा मारा था की तुम अपनी पत्नी पे बिलकुल ध्यान नहीं दे रहे थे।

जहाँ माँ के साथ सब कर सकते हो वही अपनी पत्नी को भी तो थोड़ा वक़्त दो। माँ के साथ करना तुम्हें अच्छा लगता है इस में तुम्हारा क्या दोष ये सब बातें हमारे बस में नहीं होती भाई ।
बस जो होने वाली बात होती है हो जाती है।

रामु;तो क्या कभी तेरा मन अपनी माँ के लिए बहका तो तू भी।

देवा;कुछ नहीं कहता।
पर रामु उसकी ख़ामोशी समझ जाता है और दोनों उठके शराब की दुकान में चले जाते है।

शराब के दो पैक पीने के बाद देवा रामु को ज़बर्दस्ती बाहर ले आता है कुछ नशा तो रामु पे चढ़ चुका था पर कुछ चढना बाकी था।

रामु;शराब के नशे में आज तूने मेरा मान हल्का कर दिया देवा।
आज मै बहुत खुश हूँ बोल तुझे क्या चाहिए मुझसे।

देवा;जो माँगूँगा देगा।

रामु; दूंगा बस तू बोल।

देवा;आज रात मेरे साथ अपनी माँ और पत्नी को चोदोगे।
 
रामु;देवा की तरफ देखता है और फिर खिलखिला के हंसने लगता है।
मै जानता था तू यही मांगेंगा चल तू भी क्या याद रखेंगा आ जा घर चलते है।

जब वो दोनों घर पहुँचते है तो कौशल्या और देवकी को कमरे में बिस्तर पे उन दोनों का इंतज़ार करता पाते है।

देवकी और कौशल्या ऑखों ऑखों में देवा से पूछते है और देवा आँख मार के उन्हें बता देता है।

रामु; सीधा अपनी माँ देवकी के पास आता है और उसे अपने से चिपका के उसके मोटे मोटे कमर को दबाने लगता है ।

देवकी;आहह बेटा सब देख रहे है।

रामु; इसलिए तो कर रहा हूँ आज की रात तुम दोनों देवा को खुश कर दो। मेरा भाई कल जाने वाला है उसे किसी चीज़ की कमी मत होने देना आज रात।
वो नशे में क्या क्या बोल रहा था उसे भी पता नहीं था पर इन सब बातों से देवकी के साथ साथ कौशल्या बहुत खुश दिखाई दे रही थी।

रामु;खड़ा था और देवकी बिस्तर पे बैठी हुई थी देवा देवकी के बगल में जाके बैठ जाता है।

रामु ; कौशल्या इधर आ।

कौशल्या ;रामु के पास जाती है और रामु उसे कपडे उतारने के लिए कहता है।
साथ ही खुद के भी कपडे उतार देता है।

रामु;चल अपने पति परमेश्वर का मुंह में ले के चुस।

उधर देवा भी देवकी को नंगा कर चुका था।

कौशल्या ;रामु का लंड मुंह में ले के चुसने लगती है और देवा देवकी को घोडी बनाके उसकी पीछे से चूत चाटने लगता है।



देवा;देवकी के चूत चाट चाट के लाल कर देता है और कौशल्या अपने पति के लंड को खड़ा कर देती है।

देवकी खडी हो जाती है और कौशल्या के मुंह से रामु का लंड निकाल लेती है ।
पहले वो कौशल्या के होठो को चुमती है उसके बाद रामु के लंड को मुंह में लेके हलक तक घुसा लेती है।

रामु;आहह माँ आराम आराम से।

कौशल्या देवा की तरफ देखती है जो देवकी और रामु को देख अपना लंड हाथ में ले के हिला रहा था । उसे देवा की बेबसी देखी नहीं जाती और वो उसके लंड को अपने नाज़ुक हथेली में ले के मसलते हुए मुंह में ले लेती है।
 
एक तरफ कौशल्या अपने देवर के लंड को चूस रही थी दूसरी तरफ देवकी अपने बेटे के लंड को।

दोनो लंड इतनी बुरी तरह तड़प रहे थे चूत के लिए मगर दोनों औरतों को उन पे बिलकुल तरस नहीं आ रहा था। आखिर कर देवा कौशल्या को उठाके बिस्तर पर ले जाता है और अपने लंड को उसकी चूत पे लगा के अंदर घूस्सा देता है।

देवकी;रामु का हाथ पकड़ के कौशल्या के बगल में लेट जाती है और रामु अपने लंड पे थूक लगा के अपनी माँ की चूत को अपने लंड से भर देता है



कौशल्या ;आहह देवा आहह आराम से । मेरी चूत की सुजन अभी तक उतरी नहीं आहह वो अपने सास का हाथ पकड़ लेती है तो पहले से थर थर कांप रही थी रामु अपने पूरी ताकत से उसे चोद रहा था।

देवकी;आहह देवा मेरा दुसरा सुराख़ भर दे बेटा आअह्हह्हह्हह।

देवा ; कौशल्या की तरफ देखता है और कौशल्या उसे अपने चूत से लंड निकालने की इजाज़त दे देती है।

रामु;का लंड देवकी की चूत में था ।
देवा;थोड़ा सा तेल उठाके देवकी की गाण्ड के भूरे छेद पे डाल देता है और बिना देवकी को कुछ कहे झट से अपना लंड का सुपाडा देवकी की गाण्ड में घूस्सा देता है।

देवकी;मर गई हरामी आहह क्या ठूँस दिया रे तूने पीछे से....

देवा;अभी तो कह रही थी मामी की दुसरे सुराख़ में डालो ले ऐसे न आह्ह्ह्ह्ह्।

वो कौशल्या की चूत से बीच चुदाई में लंड निकालने से थोड़ा ग़ुस्से में था इसलिए वो बेरहमों की तरह देवकी की गाण्ड मारने लगता है।



देवकी;'आहह आहह माँ ओ आहह नहीं न ऐसे नहीं आहह रामु बेटा तू तो थोड़ा धीरे कर ये देवा तो सुनता ही नहीं आह्ह्ह्ह्ह्।

रामु;आहह माँ आहह.....
वो नशे में था और उसी हालत में वो अपने लंड को देवकी की चूत की गहराई में पेलता चला जा रहा था।
 
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